Diabetes: डायबिटीज एक जीवनशैली से जुड़ी बीमारी है जो खराब खानपान और व्यायाम की कमी के कारण होती है। जब शरीर में रक्त शर्करा का स्तर नियंत्रित नहीं रहता तो यह शरीर के विभिन्न अंगों को नुकसान पहुँचाता है। इसलिए रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करने के लिए जीवनशैली में सुधार करना जरूरी है।
दारचीनी रक्त शर्करा को नियंत्रित करने में मदद करती है। यह शरीर में इंसुलिन की संवेदनशीलता बढ़ाने के लिए जानी जाती है। सुबह खाली पेट एक गिलास दारचीनी पानी में काली मिर्च डालकर पीने से न केवल रक्त शर्करा बल्कि रक्तचाप भी नियंत्रित रहता है।
मेथी दाने में घुलनशील फाइबर की भरपूर मात्रा होती है जो रक्त में शर्करा के अवशोषण को धीमा कर देती है। इसे रातभर पानी में भिगोकर सुबह खाली पेट पीने से रक्त शर्करा का स्तर नियंत्रित रहता है और इंसुलिन संवेदनशीलता में सुधार होता है। अलसी के बीज ओमेगा-3 फैटी एसिड्स फाइबर और एंटीऑक्सीडेंट्स से भरपूर होते हैं जो रक्त शर्करा के स्तर को संतुलित रखते हैं। इन बीजों का सेवन रक्त शर्करा को स्थिर रखने में मदद करता है और कार्बोहाइड्रेट्स के पाचन को धीमा कर देता है।
टमाटर और अनार दोनों एंटीऑक्सीडेंट्स विटामिन्स और मिनरल्स से भरपूर होते हैं जो हृदय स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करते हैं। टमाटर में लाइकोपीन होता है जो कोलेस्ट्रॉल को कम करता है। अनार का रस रक्त संचार को बेहतर करता है और सूजन कम करता है।