Maharashtra Assembly Elections 2024 के बाद से कांग्रेस पार्टी लगातार चुनाव प्रक्रिया को लेकर सवाल उठा रही है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने चुनाव आयोग को एक औपचारिक पत्र लिखा जिसमें उन्होंने चुनाव में पारदर्शिता और निष्पक्षता पर चिंता जाहिर की। इसके जवाब में चुनाव आयोग ने उन्हें बातचीत के लिए आमंत्रित किया ताकि चुनाव से जुड़े किसी भी मुद्दे पर चर्चा की जा सके। यह विवाद अब एक बड़ा राजनीतिक मुद्दा बन गया है जिसमें कांग्रेस ने स्पष्ट रूप से आयोग पर सवाल उठाए हैं।
कांग्रेस ने चुनाव आयोग को एक और पत्र भेजकर कई मांगें रखीं। इसमें महाराष्ट्र और हरियाणा विधानसभा चुनावों से जुड़ी डिजिटल वोटिंग लिस्ट, मतदान वाले दिन की वीडियो रिकॉर्डिंग और अन्य तकनीकी जानकारी शामिल हैं। यह पत्र कांग्रेस की 8 सदस्यीय ‘ईगल कमेटी’ ने भेजा जिसका काम देश में चुनावों पर निगरानी रखना और चुनाव आयोग की निष्पक्षता की समीक्षा करना है। पार्टी का कहना है कि यह जानकारी देना चुनाव आयोग के लिए कोई मुश्किल काम नहीं है और इस पर जल्द कार्रवाई होनी चाहिए।
Congress writes to the Election Commission in response to ECI's letter to LoP Lok Sabha Rahul Gandhi, offering to meet and discuss the issues about the Maharashtra 2024 Vidhan Sabha election that he and the Congress party raised.
The letter reads, "We request you to provide us… pic.twitter.com/USOxfgdnTI
— ANI (@ANI) June 26, 2025
अचानक बढ़ी वोटिंग पर कांग्रेस ने जताई आपत्ति
कांग्रेस ने अपने पत्र में यह भी लिखा कि दिसंबर 2024 से INDIA गठबंधन के नेता लगातार चुनाव आयोग को पत्र, याचिकाएं, प्रेस कॉन्फ्रेंस और लोकसभा में भाषणों के ज़रिए मतदान के आंकड़ों में असामान्य बढ़ोतरी पर सवाल उठा रहे हैं। खासकर शाम 5 बजे के बाद अचानक मतदान प्रतिशत बढ़ने को लेकर उन्होंने तथ्यात्मक मुद्दे सामने रखे हैं। पार्टी का कहना है कि आयोग को इस पर पारदर्शिता से जवाब देना चाहिए ताकि जनता का भरोसा कायम रह सके।
चुनाव आयोग की प्रतिक्रिया पर कांग्रेस का सवाल
कांग्रेस ने सवाल किया कि जब उन्होंने वोटिंग लिस्ट मांगी तो चुनाव आयोग ने उसे देने की बजाय मीडिया में प्रतिक्रियाएं और टिप्पणियां देना शुरू कर दिया। पत्र में यह पूछा गया कि क्या आपके पास ये वोटिंग लिस्ट मौजूद हैं या नहीं? साथ ही मतदान दिवस की वीडियो फुटेज नहीं देना भी संदेह को जन्म देता है। कांग्रेस का कहना है कि पारदर्शिता की बात करने वाले आयोग को ये जानकारी बिना देरी के सार्वजनिक करनी चाहिए।
कांग्रेस ने साफ किया है कि जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होतीं तब तक राहुल गांधी चुनाव आयोग से मुलाकात नहीं करेंगे। पत्र में लिखा गया कि जब आयोग हमारी मांगों पर सकारात्मक कदम उठाएगा तब कांग्रेस नेतृत्व आयोग से मिलकर अपनी विश्लेषण रिपोर्ट पेश करेगा। वहीं आयोग ने 12 जून को राहुल गांधी को पत्र लिखकर किसी भी मुद्दे पर चर्चा के लिए आमंत्रित किया था और दोहराया था कि चुनाव पूरी तरह से संविधान और नियमों के अनुरूप कराए गए हैं।